Sad Shayari

Posted On: 15-05-2023

Posted On: 25-04-2023

कोaaन किसको अपने दिल मे जगह देता हैं ! पेड़ भी सूखे पत्तों को गिरा है ! वाकिफ़ हूँ इस दुनिया के रिवाज़ो से जब मन भर जाए तो हर कोई भुला देता है!

Posted On: 28-03-2023

Dekha h andekha hona bhi, dekh kar bhi andekha hona dekha hai... Sath chalna Bhi dekha hai, kisike sath chalkar bhi aakela hona dekha hai... Dekha hai kisiki narazgi mei pyar bhi, kisiki mohobbat mei bhi badnam hote dekha hai... Dekha hai gulab hmne, aur gulab ke Kato ko chubte bhi dkha h... Mayank Tyagi

Posted On: 16-03-2023

Dil ki baat shayari ke saath

Posted On: 06-02-2023

जानता पहले से हूँ मैं, लेकिन अहसास अब हो रहा है, अकेला तो काफी समय से हूँ मैं, लेकिन अहसास अब हो रहा है ||

Posted On: 02-02-2023

कभी कहते थे वो हम गेरों से नहीं देखो आज वो खुद गैर बनकर बैठे है।।

Posted On: 24-01-2023

मनमा बसेको छौ तिमि, तर आफ्नो बनाउनु कसरी, कहि टाढा जाउ तिमि, तिम्रो याद नआउने गरी ।

Posted On: 16-01-2023

Zamane Ne Hume Kuch Na Dia, Hum Zamane Ko Kya De, Gujarish he Bas itni Hume To De Unki Mohabbat, Warna Maut Bhi N De. By Bikas..

Posted On: 13-01-2023

تلخی مزاج سے آپ کے ختم ہوتی ہی نہیں کبھی انداز محبّت کے بدل کر بھی تو آئیے نا جناب کبھی

Posted On: 06-01-2023

जहा छोड़ कर गए थे वही छूटे जा रहे है। ऐसा नही मोती चमकते नही पर जितने चमकते है उतने टूटे जा रहे है। हम शांत है पर सवाल है मन के भवसागर जो बार बार कूद से पूछे जा रहे है? गलती क्या थी हमारी जो टूटे जा रहे है।। मयंक त्यागी

हमें तो कबसे पता था की तू बेवफ़ा है, तुझे चाहा इसलिए की शायद तेरी फितरत बदल जाये

गलत लोग तो सभी के जीवन में आते है, लेकिन सीख हमेसा सही ही देकर जाते है

Posted On: 13-12-2022

ki Mai nai maniya ossai bohat os bheed Mai Thai os k chahane wale bohat os bheed Mai tha kambhakt bs Mai he succhai Dil sai ossai chahane wala, phir b na Jane ossai Woh Ku passand Aaye is bheed mai

Posted On: 07-12-2022

🌸 बहुत फर्क है उसमे और मुझ में, वो मेरे प्यार को मजाक समझती है और में उसके मज़ाक को प्यार समझता हूं 🌺

Posted On: 20-11-2022

क्या करोगे तुम इस झूठी मुस्कान का जब अंदर खुद को तन्हा पाओगे. क्या करोगे तुम इस दिल का जब पहले से इसे टूटा पाओगे. क्या करोगे दीपक की रौशनी का जब जीवन में अन्धकार पाओगे. क्या करोगे इतनी दौलत का जब खुद को कब्र में पाओगे. आखिर करोगे क्या तुम जब लोगो को तुम पर हस्ता हुआ पाओगे.