इस जीवन के चौराहे पर, दो हृदय मिले भोले-भाले ! ऊँची नज़रों चुपचाप रहे, नीची नज़रों दोनों बोले !! दुनिया ने नयनों को देखा, देखा न नयन के पानी को ! दो प्राण मिले झूमे-घूमे, दुनिया की दुनिया भूल चले !!
मेरी दुल्हन सी रातों को, नौलाख सितारों ने लूटा ! नींदें तो लूटीं रूपयों ने, सपना झंकारों ने लूटा !! ससुराल चली जब डोली तो, बारात दुआरे तक आई ! नैहर को लौटी डोली तो, बेदर्द कहारों ने लूटा !!
जंजीर कभी तड़का-तड़का, तकदीर जगाई थी हमने ! हर बार बदलते मौसम पर, उम्मीद लगाई थी हमने !! जंजीर कटी, तकदीर खुली, पर अभी ये अंखिया प्यासी है ! तेरा प्यार कहाँ जाकर बरसे, हर घाट गगरिया प्यासी है !!
कहने को बादल बरस रहे, सदियों से प्यासे तरस रहे ! ऐसे बेदर्द ज़माने में, क्या मधुर रहे, क्या सरस रहे !!
कश्ती है पुरानी मगर दरिया बदल गया, मेरी तलाश का भी तो ज़रिया बदल गया! ना शक्ल ही बदली न ही बदला मेरा किरदार, बस लोगों के देखने का नज़रिया बदल गया! हम जिस दीए के दम पर बग़ावत पर उतर आए, सोहबत के अँधेरे में वो दीया बदल गया! ईमान अदब इल्म हया कुछ भी नही क़ायम, मत पूछिए इस दौर में क्या-क्या बदल गया!!!
रोक देना मेरी मैय्यत को उसके घर के सामने ! लोग पूछे तो कह देना की कनधे बदल रहे है !!
तुम जलाकर दिये, मुँह छुपाते रहे, चाँद घूँघट घटा का उठाता रहा ! तुम न आए, हमें ही बुलाना पड़ा, मंदिरों में सुबह-शाम जाना पड़ा !! लाख बातें कहीं मूर्तियाँ चुप रहीं, बस तुम्हारे लिए सर झुकाता रहा ! दुख यही है हमें तुम रहे सामने, पर दिया प्यार का, काँपता रह गया !!
लाख मुखड़े मिले और मेला लगा, रूप जिसका जँचा वो अकेला लगा ! एक दिन क्या मिले मन उड़ा ले गए, मुफ़्त में उम्र भर की जलन दे गए !! रोज़ घूँघट न कोई उतारा करे, बात हमसे न कोई दुबारा करे ! मन दुबारा तिबारा पुकारा करे !!!
नेह लगा तो नैहर छूटा , पिया मिले बिछुड़ी सखियाँ रे ! उड़ जाएँ तो लौट न आयें , ज्यों मोती की लडियां रे !! देखा जो ससुराल पहुंचकर , तो दुनिया ही न्यारी थी ! फूलों सा था देश हरा , पर कांटो की फुलवारी थी !!!
सितारों के आगे जहाँ और भी हैं ! अभी इश्क़ के इम्तिहाँ और भी हैं !! क़नाअतन कर आलम-ए रंगओ-बू पर ! चमन और भी हैं आशियाँऔर भी हैं !!
जन्नतें मिलती है कहाँ, ख्वाहिशें कब पूरी होती है ! लो आ पहुचे उस मकां तक, फिर भी बात अधूरी होती है !!
मत पूछ कि क्या हाल है मेरा, तेरे आगे ! ये देख कि क्या रंग है तेरा, मेरे आगे !!
पत्नी: चाय बनाऊं? पति: हाँ ठीक है। पत्नी: अदरक वाली? पति: OK… पत्नी: पुदीना डालूं ? पति: Hmm ठीक है। पत्नी: तुलसी ? सेहत के लिए अच्छी होती है! पति: एक काम कर, राई और जीरा डाल के तड़का भी लगा दे !!..!!
जिसको पाना है,उसको खोना है, हादसा एक दिन ये होना है। फर्श पर हो या अर्श पर कोई, सब को इक दिन जमीं पर होना है। चाहे कितना अजीम हो इन्सां, वक़्त के हाथ का खिलौना है। दिल पे जो दाग है मलामत का, वो हमे आंसुओं से धोना है। चार दिन हँस के काट लो यारो, जिन्दगी उम्र भर का रोना है।
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